जिला चिकित्सालय बुरहानपुर में बने एएनसी ओपीडी में राष्ट्रीय स्वास्थ् मिशन के अंतर्गत प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत गर्भवती माता को मानसिक स्वास्थ्य परीक्षण को प्राथमिकता देने के लिए जागरूक किया गया !
इसके अंतर्गत गर्भवती महिलाओं को शारीरिक परीक्षण के साथ-साथ मानसिक परीक्षण के महत्व, उसकी आवश्यकता और मानसिक परीक्षण के स्वस्थ् या अस्वस्थ रहने के गर्भवती माता एवं गर्भस्थ शिशु पर पढ़ने वाले प्रभाव एवं दुष्प्रभाव के बारे में जानकारी दी गई ,!
गर्भावस्था के दौरान परिवार की भागीदारी के बारे में भी बताया गया !गर्भावस्था में गर्भवती माता को मानसिक रूप से स्वस्थ ना होने पर गर्भवती माता में गर्भावस्था को लेकर तनाव, चिंता चिड़चिड़ापन,मां का उदास रहना जैसे मानसिक विकार हो सकते है !
गर्भस्थ शिशु में होने वाले विकार जैसे समय से पूर्व गर्भपात होना, बच्चों का दिमाग कम विकसित होना या समय अनुसार बच्चों का विकास ना हो पाना या बच्चे को दौरे आना या किसी भी प्रकार की शारीरिक एवं मानसिक विकास विकलांगता के बारे में भी गर्भवती माता एवं उसके परिवार को जागरूकता संदेश दिया गया !
गर्भावस्था के दौरान किसी भी प्रकार की मानसिक विकार या भावनात्मक विकार होने पर मनहित एप को डाउनलोड करने के लिए बताया गया एवं टेली मानस स्वास्थ्य कार्यक्रम के बारे में जानकारी देते हुए 24 घंटे अवेलेबल नि:शुल्क स्वास्थ्य सेवा नंबर 14416 को भी मोबाइल में सेव करने के लिए कहा गया तथा यह किस प्रकार से कार्य करता है इसका क्या महत्व है के बारे में भी उपस्थित स्वास्थ्य कार्यकर्ता और संबंधित गर्भवती माता उसके परिवार को जानकारी दी गई !
इस अवसर पर प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत जिले के नोडल अधिकारी और जिले के डिस्ट्रिक्ट हेल्थ ऑफीसर डीएचओ 1 डॉक्टर एल.डी.एस फूंकवाल के द्वारा भी गर्भवती माता के शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य के प्रति विशेष स्वास्थ्य सेवा की आवश्यकता के बारे में स्वास्थ्य अधिकारी एवं कर्मचारियों को दिशा निर्देश दिए गए !